
इस सप्ताह बड़े पर्दे पर भोजपुरी की दो बड़ी फिल्में रिलीज हुई । दोनों फिल्में अलग-अलग अंदाज की हैं। दोनों फिल्में ‘कसम तिरंगा के” और ‘लंका में सीता’, एक जहाँ देशभक्ति फ़िल्म है तो दूसरी आज के परिवेश के कुछ महत्वपूर्ण बातों को मद्देनजर रखकर बनाई गई है ।
- बड़े परदे पर एक साथ टकराई फिल्म लंका में सीता और कसम तिरंगा के
- अब फोन न तोहार आवता – प्रमोद प्रेमी
- कसम तिरंगा के
- बोल राधा बोल – मूवी रिव्यू
- पुदीना फेम पवन सिंह के फैन्स के लिए खुशखबरी
Lanka Me Sita vs. Kasam Tiranga Ke
रवि भूषण द्वारा निर्देशित फिल्म कसम तिरंगा एक मल्टीस्टारर फ़िल्म है जिसमे रवि किशन जैसे मंझे अभिनेता के साथ-साथ अरविंद अकेला , राकेश मिश्रा और समर सिंह हैं। तो , वहीं लंका में सीता की पूरी की पूरी जिम्मेदारी निसार खान और ऋतु सिंह के कंधों पर है।

भोजपुरी फ़िल्म लंका में सीता (Lanka Me Sita) की जो सबसे बड़ी बात है वह है कि फ़िल्म ट्रेडिशनल फिल्मों से थोड़ा हटकर बनी है। फ़िल्म के निर्देशक हैं डी सुब्बाराव जिन्हें साउथ स्टाइल की फिल्में बनाने में महारत हासिल है। अक्सर इस तरह की फिल्में आज के दर्शकों की भी मांग है । ऐसी फिल्में जिसमें कुछ नयापन हो, जो रोमांचित करता हो, जो एंटरटेनिंग हो आज के समय में काफी लोकप्रिय है। और यहाँ तक कि भोजपुरी का बड़ा वर्ग इस तरह के फिल्मों का पक्षधर है जो कि साफ-सुथरी हो , जिसे घर मे बैठकर परिवार के साथ देखा जा सके।